ऋण स्कीम फ्लायर
राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग वित्त एवं विकास निगम
पृष्ठभूमि
राज्य सरकार/जिला प्रशासन के सक्षम प्राधिकारी द्वारा जारी आय प्रमाण-पत्र या अंत्योदय अन्न योजना (ए.ए.वाई.) अथवा गरीबी रेखा से नीचे (बी.पी.एल.) कार्ड धारक।
राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग वित्त एवं विकास निगम (एन.बी.सी.एफ.डी.सी.), सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय के तत्वावधान में भारत सरकार का एक उपक्रम है जो चैनल पार्टनर (राज्य चैनलाइजिंग एजेंसियों/बैंकों) के माध्यम से पिछड़े वर्ग के उन सदस्यों को रियायती वित्तीय सहायता प्रदान करता है जिनकी वार्षिक पारिवारिक आय रू. 3.00 लाख तक है। निगम की योजनाओं के तहत संबंधित चैनल पार्टनर की उचित प्रक्रियाओं का पालन करते हुए आय सृजन कार्यक्रमों के लिए ऋण सहायता प्रदान किया जा सकता है। ऐसे कोई भी कार्यकलाप हो सकते हैं जिनमें लाभार्थी या लाभार्थियों के समूह के लिए स्थायी आय सृजन प्रदान करने की क्षमता हो।
ख. ऋण के लिए योग्यता एवं वांछित प्रमाणीकरण
अ) आवेदक राज्य/केन्द्र सरकार द्वारा समय-समय पर अधिसूचित अन्य पिछड़ा वर्ग सूची के अंतर्गत आने वाली जाति से संबंधित होना चाहिए। उपयुक्त जाति प्रमाण पत्र जिला प्रशासन के संबंधित प्राधिकारी द्वारा जारी किया जाना चाहिए।
आ) ग्रामीण या शहरी क्षेत्र के परिवार की वार्षिक आय रू. 3.00 लाख प्रति वर्ष तक होनी चाहिए। आय मानदंड स्थापित करने के लिए आवेदक द्वारा निम्नलिखित प्रमाण पत्रों का उपयोग किया जा सकता है: -
- राज्य/केन्द्र सरकार द्वारा अधिसूचित किसी राजपत्रित अधिकारी द्वारा पृष्ठांकित स्व-प्रमाणित वार्षिक पारिवारिक आय प्रमाण पत्र।
- यदि ऋण के लिए बैंक (चैनल सहभागी) से आवेदन किया जा रहा है, तो शाखा प्रबंधक द्वारा मूल्यांकन एवं पृष्ठांकित स्व-प्रमाणन का उपयोग ऋण प्रदान करने के लिए किया जा सकता है।
- भूमिहीन कृषि श्रमिक व सीमांत किसान (एक हेक्टर भूमि वाले) और छोटे किसान (दो हेक्टर भूमि वाले), जैसा कि बैंकों द्वारा उनकी मानक प्रक्रियाओं के तहत निर्धारित एवं पिछड़े वर्ग से संबंधित व्यक्तियों को निम्न आधार पर स्वतः लक्षित समूह के अंग के रूप में माना जाएगा:
1) ऐसेभूमिहीन कृषि श्रमिक एवं सीमांत किसानों को जिनके पास एक हेक्टेयर से कम जमीन है, की वार्षिक पारिवारिक आय रू.1.50 लाख से कम मानी जाएगी।
2) छोटे किसान अर्थात् एक और दो हेक्टेयर के बीच भूमि वाले किसानों की वार्षिक पारिवारिक आय रू. 3.00 लाख से कम मानी जाएगी।
ग. ऋण के प्रकार
(1) एकल व्यक्तियों हेतु ऋण योजनाः
इस योजना के तहत, प्रति लाभार्थी अधिकतम रू. 15.00 लाख की सीमा में परियोजना लागत का 85% तक ऋण दिया जाता है। रू. 1.25 लाख तक के ऋण एक तिमाही अधिस्थगन अवधि सहित 4 वर्ष की अवधि के लिए 7% वार्षिक ब्याज दर पर प्रदान किए जाते हैं। रू. 1.25 लाख से अधिक और रू. 15.00 लाख तक के ऋण एक तिमाही की अधिस्थगन अवधि सहित 7 वर्ष की अवधि के लिए 8% वार्षिक ब्याज दर पर प्रदान किए जाते हैं।
रू. 15.00 लाख तक के शिक्षा ऋण 10 वर्ष की अवधि (5 वर्ष की स्थगन अवधि सहित) के लिए एक समान 8% वार्षिक ब्याज दर पर प्राप्त किए जा सकते हैं।
(2) समूह ऋण योजनाः
इस योजना के तहत, लक्षित समूह को ऋण सुविधाएं प्रदान करने के लिए स्व-सहायता समूहों (एस.एच.जी.) को ऋण सहायता उपलब्ध है। परियोजना लागत का 90% तक ऋण प्रदान किया जाता है। प्रति समूह अधिकतम ऋण सीमा रू. 15.00 लाख है व एस.एच.जी. में प्रति लाभार्थी ऋण रू. 1.25 लाख है, जिस पर 3 वर्ष की अवधि के लिए वार्षिक ब्याज दर 6% है, जिसमें एक तिमाही की अधिस्थगन अवधि भी सम्मिलित है।
एन.बी.एफ.सी.-एम.एफ.आई. या इसी तरह के वित्तीय संस्थानों को दिए गए ऋण और बैंक गारंटी या किसी अन्य उपयुक्त सेक्योरिटी द्वारा समर्थित ऋण एक तिमाही की अधिस्थगन अवधि के साथ 3 वर्ष की अवधि के लिए 16% वार्षिक तक की ब्याज दर पर उपलब्ध हैं।
समय पर भुगतान की दशा में सभी योजनाओं में वार्षिक आधार पर 1% की दर से छूट प्रदान की जाती है, जिसे चैनल पार्टनर और लाभार्थियों के बीच समान रूप से विनियोजित किया जाता है।
एन.बी.सी.एफ.डी.सी. की समूह ऋण योजना के तहत स्व-सहायता समूहः
एन.बी.सी.एफ.डी.सी. ऐसे स्व-सहायता समूहों को मान्यता देता है जिनके कम से कम 60% सदस्य पिछड़े वर्गों से हों, बशर्ते अन्य सदस्य कमजोर वर्गों (सरकार द्वारा निर्धारित आय या आर्थिक मानदंडों के अनुसार) जिनमें अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति/अल्पसंख्यक और दिव्यांग व्यक्ति (पी.डब्ल्यू.डी.) शामिल हों।